कवर्धा। छत्तीसगढ़ के कबीरधाम जिले के कुकदूर थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम कामठी में नवरात्रि पंडाल स्थापना को लेकर शनिवार को बड़ा विवाद खड़ा हो गया। दो समुदाय—पटेल समाज और गोंडवाना समाज—के बीच वर्षों से चले आ रहे मंदिर विवाद ने एक बार फिर तूल पकड़ लिया।
कैसे शुरू हुआ विवाद
जानकारी के अनुसार, कामठी गांव के बीचों-बीच स्थित प्राचीन मंदिर में शनिवार सुबह पटेल समाज के लोगों ने दुर्गा प्रतिमा स्थापित कर पंडाल सजाने की तैयारी की। इस पर गोंडवाना समाज ने विरोध जताते हुए पंडाल हटाने की कोशिश की। देखते ही देखते दोनों पक्ष आमने-सामने आ गए और तनाव बढ़ गया।
गुस्साए ग्रामीण बड़ी संख्या में मंदिर परिसर में जुट गए और हंगामा शुरू कर दिया। भीड़ ने मंदिर की दीवार तोड़कर अंदर घुसने की कोशिश की। स्थिति बिगड़ती देख पुलिस मौके पर पहुंची, लेकिन भीड़ पर काबू पाना आसान नहीं रहा।
पुलिस-ग्रामीणों में झड़प, महिला आरक्षक घायल
तनाव के दौरान पुलिस और ग्रामीणों में झड़प हो गई। इसमें एक गर्भवती महिला आरक्षक गंभीर रूप से घायल हो गई और उनके हाथ में फ्रैक्चर हो गया। वहीं मौके पर मौजूद एसडीओपी के साथ भी अभद्र व्यवहार किया गया। हालात काबू से बाहर जाते देख पुलिस ने हल्का बल प्रयोग किया और भीड़ को तितर-बितर किया।
प्रशासन ने मंदिर को घोषित किया शासकीय
स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए प्रशासन ने कामठी गांव में भारी पुलिस बल तैनात किया। साथ ही विवादित मंदिर को शासकीय घोषित कर दिया गया। कवर्धा एसपी ने साफ कहा है कि मंदिर परिसर में पंडाल वहीं स्थापित होगा और उपद्रव करने वालों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई होगी।
अफवाहों से बचने की अपील
कवर्धा पुलिस ने स्पष्ट किया है कि वायरल हो रही कुछ खबरों और अफवाहों में गलत जानकारी फैलाई जा रही है। वास्तविक विवाद केवल पंडाल स्थापना से संबंधित था। पुलिस और प्रशासन ने नागरिकों से अपील की है कि वे किसी भी अफवाह पर ध्यान न दें और शांति बनाए रखें।
पिछले साल भी हुआ था विवाद
स्थानीय सूत्रों के मुताबिक, पिछले वर्ष भी नवरात्रि के दौरान प्रतिमा स्थापना और पूजा-अर्चना को लेकर दोनों पक्षों में विवाद हुआ था। तब प्रशासन ने समझाइश देकर मामला शांत कराया था, लेकिन अंदरूनी नाराजगी बनी रही। इस बार स्थिति गंभीर होने पर प्रशासन ने सख्ती बरतने का फैसला किया है।